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शंभू बॉर्डर से दिल्ली की ओर बढ़ रहे किसानों पर पानी की बाैछार, पुलिस ने आंसू गैस के गोले छोड़े

शंभू बॉर्डर से दिल्ली की ओर बढ़ रहे किसानों पर पानी की बाैछार, पुलिस ने आंसू गैस के गोले छोड़े

किसान दिल्ली जाना चाहते हैं तो उचित अनुमति लेनी होगी : पुलिस

चंडीगढ़। किसानों का जत्था शंभू बॉर्डर से शनिवार को जैसे ही दिल्ली की तरफ कूच शुरू किया हरियाणा पुलिस ने उसे रोक दिया। दिल्ली कूच का प्रयास कर किसानों पर पुलिस ने किसानों पर वाटर कैनन का प्रयोग किया। इसके अलावा आंसू गैस के गोले छोड़े जा रहे हैं। इसमें एक किसान घायल हो गया है। किसान आगे जाने के लिए रास्ता मांग रहे हैं। वहीं पुलिस का कहना है कि किसान दिल्ली जाने की अनुमति दिखाएं और आगे जाएं।

किसानों का कहना है कि हमें दिल्ली जाने की इजाजत दी जानी चाहिए। राष्ट्रीय राजधानी में जाकर विरोध करना हमारा अधिकार है, हमारी आवाज नहीं दबाई जानी चाहिए। वहीं, अंबाला एसपी का कहना है कि अगर आप दिल्ली जाना चाहते हैं तो आपको उचित अनुमति लेनी होगी और एक बार आपको अनुमति मिल जाएगी तो हम आपको जाने देंगे। कल सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। हम आपसे अपील करते हैं कि आप यहां शांति से बैठें और नियमों का पालन करें।

अंबाला के कई गांवों में इंटरनेट बंद

किसानों के प्रदर्शन को देखते हुए अंबाला के कई गांवों में इंटरनेट सेवा को अस्थाई तौर पर बंद कर दिया गया है। जानकारी के अनुसार, डंगदेहरी, लोहगढ़, मानकपुर, डडियाना, बड़ी घेल, छोटी घेल, लहारसा, कालू माजरा, देवी नगर (हीरा नगर, नरेश विहार), सद्दोपुर, सुल्तानपुर और काकरू में इंटरनेट सेवा पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। इस दौरान लोग फोन पर बात कर सकेंगे। इन जगहों पर इंटरनेट 17 दिसंबर तक सस्पेंड रहेगा।

बिगड़ रही डल्लेवाल की हालत
खन्नौरी बॉर्डर पर शुक्रवार को जगजीत सिंह डल्लेवाल की लगातार मानीटरिंग कर रही डॉक्टरों की टीम ने बताया कि डल्लेवाल के शरीर में मैगनिशियम, पोटाशियम व कैल्शियम की कमी हो गई है। इसके चलते अब उन्हें कभी भी साइलेंट कार्डिएक अरेस्ट हो सकता है। खड़े होने पर उन्हें चक्कर आते हैं। उल्टियां हो रही हैं और यहां तक कि पानी भी अंदर नहीं जा रहा है। डल्लेवाल को संक्रमण होने का भी खतरा बढ़ गया है। डाॅक्टरों ने बताया कि डल्लेवाल को जल्द इलाज की जरूरत है।

पंजाब के किसान नेताओं से मिले राकेश टिकैत

वहीं, संयुक्त किसान मोर्चा के नेता राकेश टिकैत ने भी शुक्रवार को पंजाब के किसान नेताओं से मुलाकात की और संयुक्त लड़ाई के लिए किसान समूहों की एकजुटता का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि डल्लेवाल हमारे बड़े नेता हैं और हम उनके स्वास्थ्य को लेकर चिंतित हैं, पूरे देश के किसान चिंतित हैं। सरकार को संज्ञान लेना चाहिए। ऐसा नहीं लगता कि डल्लेवाल तब तक अपना आमरण अनशन वापस लेंगे, जब तक सरकार बातचीत नहीं करती और उनकी मांगें पूरी नहीं करती। टिकैत ने यह भी चेतावनी दी कि केंद्र को किसानों की ताकत दिखानी होगी और इसके लिए दिल्ली को अब निरस्त कृषि कानूनों के खिलाफ पिछले आंदोलन की तरह सीमाओं पर नहीं घेरना होगा, बल्कि केएमपी (कुंडली-मानेसर-पलवल एक्सप्रेसवे) से राष्ट्रीय राजधानी को घेरना होगा। उन्होंने कहा कि एक बार फिर 4 लाख ट्रैक्टरों की जरूरत है।

बता दें कि इसके पूर्व रविवार को प्रदर्शनकारी किसानों को शंभू सीमा से दिल्ली तक अपना पैदल मार्च स्थगित करना पड़ा था, क्योंकि उनमें से कुछ हरियाणा के सुरक्षाकर्मियों द्वारा आंसू गैस के गोले दागे जाने से घायल हो गए थे, जिन्होंने एक बार फिर प्रदर्शनकारियों द्वारा पंजाब-हरियाणा सीमा से आगे जाने के प्रयास को विफल कर दिया था। किसान यूनियनों के अनुसार, किसान नेता जगजीत सिंह दल्लेवाल की बिगड़ती सेहत के कारण उन्हें अपना विरोध प्रदर्शन स्थगित करना पड़ा, जो 26 नवंबर से आमरण अनशन पर हैं।

Author Desk

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